पूर्वी अफ़्रीका में भीषण बाढ़ से लाखों लोग विस्थापित
अन्तरराष्ट्रीय प्रवासन संगठन – IMO ने सावधान किया है कि इस बारिश ने भारी बाढ़ को जन्म दिया है जिससे भूमिस्खलन भी हुआ है और लड़कों, पुलों और बांधों को भारी नुक़सान पहुँचा है.
कई सप्ताहों से जारी इस भीषण बाढ़ के कारण छह लाख 37 हज़ार से अधिक लोग प्रभावित हुए हैं, जिनमें क़रीब दो लाख 34 हज़ार लोग, पिछले पाँच दिनों में विस्थापित हुए हैं. इस बाढ़ में मारे गए लोगों की अभी कोई आधिकारिक संख्या जारी नहीं बताई गई है.
कभी नहीं ख़त्म होने वाली आपदा
यूएन प्रवासन एजेंसी ने कहा है कि विस्थापितों की संख्या बढ़ रही है. एजेंसी के अनुसार बाढ़ आपदा, जलवायु परिवर्तन की एक क्रूर वास्तविकता है, जिसने बहुत सारी ज़िन्दगियाँ ख़त्म कर दी हैं और पूरे के पूरे समुदायों को उनके मूल स्थानों से बेदख़ल कर दिया है.
पूर्वी और हॉर्न ऑफ़ अफ़्रीका के लिए IOM की क्षेत्रीय निदेशक राना जाबेर का कहना है कि प्रभावित लोगों के सामने अपने घरों को फिर से बनाने का एक भारी-भरकम सामने है, मगर उनकी निर्बलता और भी बढ़ रही है.
IOM का कहना है कि अफ़्रीका क्षेत्र, जलवायु परिवर्तन के प्रभावों के लिए बहुत संवेदनशील हो रहा है, जबकि ग्रीन हाउस गैसों के वैश्विक उत्सर्जन में इस क्षेत्र का योगदान केवल 4 प्रतिशत है.
संगठन के अनुसार पूर्वी और हॉर्न अफ़्रीका क्षेत्र विशेष रूप से पिछले दशक के दौरान, सूखा और सघन बारिश के चक्रों से प्रभावित होता रहा है.
कई दशकों में इस सबसे भीषण बारिश और बाढ़ के हालात में, IOM, देशों की सरकारों और साझीदारों के साथ मिलकर, प्रभावित आबादी को जीवनरक्षक सहायता मुहैया कराना जारी रखे हुए है.
IOM ने बुरूंडी में लगभग पाँच हज़ार लोगों को आश्रय, सम्बल, खाना पकाने के बर्तन, सौर लैम्प, महिलाओं की ज़रूरतों का सामान और अन्य ज़रूरी चीज़ मुहैया कराई है.
पड़ोसी देश इथियोपिया में भी सहायता पहुँचाई जा रही है जहाँ बाढ़ प्रभावित लगभग 70 हज़ार लोगों को मदद दी जाएगी, जोकि सोमाली और ओरोमिया क्षेत्रों में ठहरे हुए हैं.
साथ ही केनया में बाढ़ से सर्वाधिक प्रबावित पूर्वी, मध्य और पश्चिमी इलाक़ों में लगभग 39 हज़ार लोगों तक सहायता पहुँचाई जा रही है.
सोमालिया में भी लगभग दो लाख 40 हज़ार लोगों को आश्रय सामान, स्वच्छता सामग्री, ज़रूरी चिकित्सा चीज़ें और अन्य सेवाओं के साथ-साथ मनोवैज्ञानिक सहायता भी मुहैया कराई जा रही है.